जिला सूचना अधिकारी मनोकामना राय ने जब से जिले की कमान संभाली तब से तथाकथित पत्रकारों के बीच भूचाल सा आ गया है

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जौनपुर। जिला सूचना अधिकारी मनोकामना राय ने जिले के समस्त प्रिंट और इलेक्ट्रानिक मीडिया के पत्रकार बंधुओ को निर्देश दिया गया है !

 

उन्होंने सूचना विभाग के ग्रुप में यह कहा की जिन पत्रकार बंधू के नियुक्ति पत्र की वैधता 31 दिसम्बर 2022 और 31 मार्च 2023 को समाप्त हो गई है वह शीघ्र अपना नवीनीकरण पत्र सूचना कार्यालय में जमा करे अन्यथा आगे जारी होने वाली संशोधित सूची से उनका नाम हाटा दिया जायेगा जिसके जिम्मेदार स्वय पत्रकार बंधू होगे !

 

साथ ही साथ जिला सूचना आधिकारी द्वारा यह भी आशंका जताई गई है कि जिन पत्रकारों ने 31-03-2023 तक अपने-अपने  पत्र सूचना विभाग में नही जमा किए गए हैं वह तत्काल जमा करे!

 

जिला सूचना अधिकारी द्वारा उठाये गये इस कदम से जिले में तथाकथित फर्जी ढंग से कर रहे पत्रकारिता करने वाले पत्रकार पर शीर्घ जिला प्रशासन और पुलिस प्रशासन की लगाम लगेगी जिससे समाज में चौथे स्तम्भ का जो मान सम्मान पुर्व में कायम था वह कायम रहेगा जिला सूचना आधिकारी मनोकामना राय का यह प्रयास काफी सराहनीय है इन्होंने जब से जनपद जौनपुर में जिले की कमान संभाली है आए दिन कुछ न कुछ अच्छे कार्य इनके माध्यम से हो रहे है देखा जाए तो देश की आज़ादी के बाद से गठित सूचना विभाग में  आज तक आए हुए दर्जनों सूचना अधिकारी ने वह कार्य नहीं किया है जो कार्य वर्तमान सूचना अधिकारी ने कर दिखाया है  यादि जिले में आजादी के बाद देखा जाए तो यह जिले की पहली सूचना अधिकारी होगी जिनके द्वारा यह सराहनीय कदम उठाया गया है !

 

जनपद में इस समय शहरी क्षेत्र के अलावा देखा जाए तो ग्रामिण क्षेत्रों में भी तथाकथित पत्रकारों  द्वारा वीडियों बनाकर खबर चलाने की धमकी देकर धन वसूली करने वाले अधिकांश तथाकथित फर्जी पत्रकार बनकर कार्य कर रहे है !

 

जिला सूचना अधिकारी द्धारा उठाए गए इस कठोर कदम की प्रशंशा गली मोहल्लों और पत्रकारों के बीच हो रही है की इस तरह के तथाकथित पत्रकारों पर कड़ी लगाम  लगाने की पूरी तैयारी चल रही है जिससे जिले में तथाकथित पत्रकारों द्वारा सरकारी कामों में कोई व्याधन न उत्पन्न हो सके !

 

जनपद में प्रिंट और इलेक्टानिक मीडिया के कुछ ब्यूरो अपना उल्लू सीधा करने के लिए खुद से आई कार्ड जारी कर दिया करते है जिनका अधिकार उनके पास नहीं होता और उसकी आड़ में वह तथाकथित पत्रकार मोटे मोटे शब्दों में सोशल मीडिया पर लिखते है पत्रकार …. का हूं और उससे ब्यूरो चीफ की दुकान आसानी से चलती रहती है ! जिससे वह बड़े बड़े उद्योगपति के साथ नेता जी को आश्वाशन दे दिया जाता है की नो टेंशन मेरे द्वारा मैनेज कर लिया गया है।

 

जनहित में अवगत करा दिया जाता है की सूचना एवं जनसंपर्क विभाग की गाइडलाइन के अनुसार किसी भी प्रिंट और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के संपादक के पास ही यह अधिकार प्राप्त है की पत्रकार का आई कार्ड जारी कर सकता है !  प्रिंट मीडिया या इलेक्टोनिक मीडिया के ब्यूरो चीफ को अपना सवाद सूत्र रख सकता है लेकिन स्वाद सूत्र अपने को पत्रकार नही लिख सकता है पत्रकार शब्द का प्रयोग संपादक द्वारा जारी आई  कार्ड के बाद ही लिख सकता है जब तक संपादक किसी को लिखित में अधीकृत न करे !

 

जल्द ही जिले में तथाकथित पत्रकार पर जिला प्रशासन की लगेगी लगाम इस तरह के तथाकथित पत्रकारों को
पूरी तरह से फर्जी पत्रकार मान लेना चाहिए और जांच कराकर उनके विरूद्ध विधिक कार्यवाही होनी चाहिए ताकि चौथे स्तम्भ का मान सम्मान बना रहें!

 

 

बीते कुछ वर्ष पूर्व पत्रकार बच्चू लाल विश्वर्मा की कोविड काल में अचानक मृत्यू हो गई। जिनके परिवार को जब सरकार से आर्थिक सहायता की बात समाने आई तो एक बड़े अखबार जिसमें वह दो वर्षो से काम कर रहें थें। जब उनसे लिखित मांगा गया तो ब्यूरो चीफ के माध्यम से तो संपादक ने लिखकर देने से इंकार कर दिया। यह तो कह लीजिए कि जिसको भगवान मदद दिलाता है उसका रास्ता भी वही खुद बनाता है। भगवान की कृपा थी कि बीते कुछ वषों से स्वर्गीय पत्रकार बच्चू लाल विश्वकर्मा ने उस बड़े अखबार के साथ अमन की शान का भी दामन थाम लिया था।

 

जिसके एक पत्र पर मृत्यु पत्रकार के परिवार को सरकार द्वारा आर्थिक सहायता के नाम पर दस लाख रूपये उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा दिये गए थें।

 

फर्जी ढंग से पत्रकारिता करने वाले पत्रकार इस बात को अवश्य जान लें की मुसीबत आनें पर अच्छे अच्छे ब्यूरो चीफ अपना रास्ता बदल देते है और परिवार का साथ छोड़ देते हैं।

 

 

वैसे जिला सूचना अधिकारी मनोकामना राय के अधीनस्थ सूचना विभाग के कर्मचारी अब असली और तथाकथित पत्रकारों की पहचान करने में विगत एक वर्ष से जुटा हुआ है क्यू की वर्ष 2019-20 में सूचना विभाग की सूची में लग भाग दो सौ से अधिक पत्रकारों का नाम दर्ज था जो अगली  सूची काम होकर माह अक्टूबर 2022 में सौ पर आ गया था उसके बाद माह जनवरी में काम होकर साठ तक आ गया है और उम्मीद है की माह अप्रैल 2023 में आने वाली सूची की इसकी संख्या पचास के अन्दर मान्यता प्राप्त और गैर मान्यता प्राप्त पत्रकारों को मिलाकर हो जायेगी  ।

 

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